INOX ने दिल्ली हाई कोर्ट में कहा दिल्ली सरकार सिर्फ 17 अस्पतालों को ही सप्लाई के लिए कह रही
शांति मुकुंद हॉस्पिटल ने अदालत से कहा कि अभी तक ऑक्सिजन के मुद्दे पर कोई क्लेयरिटी नहीं है
एसजी – दिल्ली सरकार को पर्याप्त ऑक्सिजन आवंटित की गई लेकिन टैंक की व्यवस्था करने में नाकाम

नई दिल्ली
दिल्ली में ऑक्सिजन की सप्लाई को लेकर दिल्ली हाई कोर्ट में सुनवाई आज भी जारी रही। हाई कोर्ट ने दिल्ली सरकार को निर्देश दिया कि वह सारे ऑक्सिजन सप्लायर और रीफिलर्स के साथ आज शाम को 5 बजे मीटिंग करे और इसमें क्या तय हुआ, इसके बारे में अदालत को कल तक रिपोर्ट दे। सुनवाई कर रहे जज जस्टिस विपिन सांघी ने दिल्ली सरकार की शिथिलता पर फटकार लगाई और कहा कि ये हालत रही तो लोग घरों में ही दम तोड़ने लगेंगे।
इससे पहले, सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने हाई कोर्ट में कहा कि अगर दिल्ली को 380 एमटी ऑक्सीजन भी मिलती है तो काम चल सकता है, जरूरी है सिस्टम का होना। हमने दिल्ली सरकार के चीफ सेक्रेटरी से इस मुद्दे पर बात की है। वहीं जयपुर गोल्डन और INOX ने ऑक्सिजन को लेकर दिल्ली सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उसने कहा कि केंद्र सरकार पहले ही आदेश जारी कर चुकी है कि ऑक्सीजन सप्लाई बाधित नहीं होगी, ऐसे में केंद्र सरकार कड़ी कार्रवाई करे।
ऑनलाइन सुनवाई के दौरान जब दिल्ली सरकार के चीफ सेक्रेटरी कोर्ट में उपस्थित हुए तो जस्टिस विपिन सांघी ने उन्हें ट्रांसपेरेंट सिस्टम बनाने का निर्देश दिया। जस्टिस सांघी ने उनसे कहा कि अगर ऑक्सीजन की वजह से मरीजों को अस्पताल में इलाज नहीं मिलेगा तो घरों में मौतें होने लगेंगी। जस्टिस सांघी ने कहा, “हम यह सिचुएशन नहीं चाहते। आप पक्षधारकों, सप्लायरों के साथ आज ही मीटिंग करें। सारी सूचनाएं जमा करें जो आपको चाहिए। जरूरत में उतार-चढ़ाव पर लगातार नजर बनाकर रखनी होगी। आपको अपने संसाधनों का सर्वोत्तम इस्तेमाल करना है। इस समय किसी भी तरहं की लापरवाही न की जाए।”
वहीं, केंद्र सरकार का पक्ष रख रहे वकील राहुल मेहरा ने कोर्ट को बताया कि दिल्ली सरकार ने 18 क्रायोजेनिक टैंकर के लिए प्रस्ताव केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय को दिया है जिन्हें तीन फेज में बैंकॉक वगैरह से मंगाने की व्यवस्था हो रही है। उधर, सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने केंद्र के जवाब को पढ़ते हुए दिल्ली हाई कोर्ट को बताया कि दिल्ली सरकार को पर्याप्त ऑक्सिजन आवंटित की गई है, पर दूसरे राज्यों की तरह उसे प्लांट से यहां मंगवाने के लिए टैंक की व्यवस्था करने में नाकाम रही। लेकिन अब मुझे पता चला है कि सरकार ने एक वॉर रूम तैयार किया है।
वहीं जयपुर गोल्डन और INOX ने दिल्ली सरकार पर आरोप लगाया है कि उसने सप्लाई चेन में बाधा डाल दी है। जो पहले सीधे अस्पताल को ऑक्सिजन की सप्लाई करता था उसने अब फोन उठाना बंद कर दिया है। दिल्ली सरकार भी नहीं उठाती है। हम कहां जाएं। जयपुर गोल्डन अस्पताल ने HC से कहा कि दिल्ली सरकार की ब्यूरोक्रेसी हालात को कंट्रोल करने में पूरी तरह से फेल हो गई है।
INOX ने दिल्ली हाई कोर्ट में कहा कि हम दिल्ली में 45 अस्पतालों को ऑक्सिजन सप्लाई करते हैं और दिल्ली सरकार हमसे सिर्फ 17 अस्पतालों को ही सप्लाई करने के लिए कह रही है । मेरे बाकी अस्पतालों को कौन देगा ऑक्सिजन।
महाराजा अग्रसेन अस्पताल की ओर से कहा गया कि अगर हमें कहा जाए कि हम तमाम अथॉरिटीज से संपर्क करने की बजाए इस नोडल ऑफिसर को बताए कि अभी हमारे पास कितनी ऑक्सिजन है और हमें इतने की जरूरत है और वह कितने बजे तक मिल जाएगा तो हम किसी को परेशान नहीं करेंगे। मरीजों का बेहतर तरीके से ख्याल रख सकेंगे।
शांति मुकुंद हॉस्पिटल ने अदालत से कहा कि अभी तक हमें इस मुद्दे पर कोई क्लेयरिटी नहीं है। हमारा बफर स्टॉक रात को 10 बजे खत्म हो जाएगा। मैं दूसरे मरीजों को एडमिट नहीं कर पा रहा ,क्योंकि मुझे यही नहीं पता कि हम मौजूदा 92 मरीजों को ही रख पाएंगे या नहीं।
एसजी ने HC से कहा कि मौजूदा वक्त में जहां संक्रमण डायनैमिक है, वहां रीडिस्ट्रिब्यूशन करना पड़ रहा है जिससे उस राज्य का ध्यान रखा जा सके जहां अचानक से मामले सामने आ जाते है।
दिल्ली हाई कोर्ट ने केंद्र सरकार को भी सवालों में घेरा। कोर्ट ने कहा जिम्मेदारी सिर्फ दिल्ली सरकार की ही नहीं, दोनों की है। दिल्ली सरकार द्वारा सिस्टम की कमी के आरोप पर हाई कोर्ट ने कहा कि हम आपके आवंटन के बारे में भी यह बात कह सकते हैं। दिल्ली हाई कोर्ट ने केंद्र से कहा कि ऑक्सिजन की कमी की वजह से 21 जानें चली गईं। HC ने केद्र सरकार से कहा कि हम आपके आंकड़ों में नहीं पड़ना चाहते हैं। हम मानते हैं कि आपने आवंटन पूरे विवेक से किया होगा। लेकिन आंकड़े बहुत अधिक हैं।
पीयूष गोयल, प्रिंसिपल सेक्रेटरी, हेल्थ मिनिस्ट्री केंद्र ने कहा कि मैं आपको बताना चाहता हूं की मैं दिल्ली सरकार के तीन आईएएस ऑफिसर के साथ रात भर संपर्क में रहा। वे वाकई कड़ी मेहनत कर रहे हैं। एक भी अस्पताल से डिस्ट्रेस कॉल नहीं मिली। जिन 28 अस्पतालों के साथ समस्या आ रही है उनमे जयपुर गोल्डन भी है, हो सकता है कि ये अस्पताल टाइड अप नहीं है इसीलिए समस्या आ रही है।
एसजी ने कहा कि भारत सरकार आप सरकार या वामपंथियों के साथ नहीं चल रही है। हम नागरिकों के साथ हैं। केरल और तमिलनाडु सरकार ने बेहतरीन काम किया है। सब जानते हैं कि मानव जिंदगी दाव पर लगी है, तो जरूरी है कि किसी भी चीज को इस वक्त ड्रामेटाइज न किया जाए।
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